जीवन और आशा
(१)
जीवन है तो गति है
गति है तो घर्षण है
घर्षण है तो संघर्ष है
संघर्ष है तो शुष्कता है
शुष्कता है तो भंगुरता है
कुछ चिर परिचित से
नहीं लगते ये शब्द
अगर हाँ तो क्या
ये जीवन है
ये संबंध है
ये रिश्ते हैं
या ये रिसते हैं
(२)
जीवन है तो गति है
गति है तो घर्षण है
घर्षण है तो ऊष्मा है
ऊष्मा है तो उर्जा है
उर्जा है तो
उर्जावान पंचतत्व
पंचतत्व है तो आरंभ है
आरंभ है तो अंत है
अंत है तो
नए जीवन की आशा है
आशा है तो जीवन है
आपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्चा कल सोमवार (18-05-2015) को "आशा है तो जीवन है" {चर्चा अंक - 1979} पर भी होगी।
जवाब देंहटाएं--
सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
--
हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक
---------------
मेरी पोस्ट को चर्चामंच में स्थान देने हेतु धन्यवाद शास्त्री जी.
जवाब देंहटाएंआशा है तो जीवन है ...
जवाब देंहटाएंदोनों रचनाएं प्रभावित करती हुयी ... जीवन का सत्य कहती हुई ...
दोनों बेहतरीन ....प्रभावी रचनाएं
जवाब देंहटाएंशीर्षक को सार्थक बनाती, जीवन और आशा अटूट सम्बन्ध दर्शाती, बहुत प्रभावी और उम्दा कृतियाँ।
जवाब देंहटाएंसुन्दर व सार्थक प्रस्तुति..
जवाब देंहटाएंशुभकामनाएँ।
आशा और जीवन से पूर्ण कविता. बहुत दिनों बाद आपको पढ़ रहा हूँ। अब नियमित समझे मुझे।
जवाब देंहटाएंसार्थक लेखन
जवाब देंहटाएंजीवन के अनेक रंगों में से दो रंग- श्वेत-श्याम सा जीवन ।
जवाब देंहटाएंGood blog. Padhkar khushi hoti hai. Aur aapne apna parichay bhi itna poetic diya hai.
जवाब देंहटाएंआशा और निराशा जीवन के दो पहलू हैं, आशा है तो जीवन है ...बहुत सुंदर रचनाएँ !!
जवाब देंहटाएंआदरणीय रचनाजी मेरा ब्लॉग join करने के लिए बहुत बहुत आभार। आपको एक AdSenseEBook भेजनी है कृपया मेरी ईमेल ID anuragchoudhary35@yahoo.in पर अपनी ईमेल ID भेजें।
जवाब देंहटाएंaasha ke bagair jiwan jine ki prerna hi khtm ho jayegi...umda.
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर
जवाब देंहटाएंजो आदि है वही तो अन्त है ......... वाह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह